धनबाद : Coronavirus, Corona Cases in India कोरोना की चौथी लहर। पटरी पर लौटी स्कूली शिक्षा को फिर बेपटरी करने जा रही है। सुगबुगाहट शुरू हो गई है। प्रशासन स्कूलों को फिर से बंद करने की तांक में है। बच्चाें का भविष्य फिर से अधर में लटकने वाला है। बढ़ते कोरोना संक्रमण के मामलों (Corona Cases) ने एक बार चिंता की लकीर खड़ी कर दी है। ऐसा होने पर बच्चों की पढ़ाई ऑनलाइन (Online Mode) से ऑफलाइन (Offline Mode) में शिफ्ट कर जाएगी। ऑनलाइन मोड कितना प्रभावी है बीते दो सालों में सभी ने देखा है। पैरेंट्स इस खबर से दुखी है। कितने गार्जियन तो ऐसे है जो दो साल से आस जोहने के बाद अपने नन्हें लाल को स्कूल भेजना शुरू ही किया था। अब वापिस से उनका यह सपने पर कोराना संकट छा गया है।
ऐसे भेज सकते है स्कूल
कोविड के बढ़ते संक्रमण ने एक बार फिर स्कूलों की चिंता बढ़ा दी है। लगातार बढ़ते मामलों को देखते हुए प्रशासन भी सतर्क हो गया है। शिक्षा विभाग ने तो बकायदा इसके लिए दिशा निर्देश तक जारी कर दिया है। बच्चों को स्कूल आने के लिए अभिभावकों की सहमति पत्र को अनिवार्य कर दिया गया है। केवल यही नहीं विद्यालय में होने वाले प्रार्थना सभा तथा किसी भी प्रकार का समूह अथवा सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन करने पर पाबंदी लगा दी गई है।
जारी किए गए ये निर्देश
विद्यालयों को यह निर्देश दिया गया है की जिन विद्यालयों में एमडीएम व्यवस्था लागू है वहां भोजन पकाने वाले तथा सहयोग करने वाले सभी कर्मियों का पूर्ण रूप से टीकाकरण अनिवार्य कर दिया गया है। वही शारीरिक दूरी बनाए रखने पर सबसे अधिक जोर दिया गया है। सभा का खेल और अन्य गतिविधियां जिसमें भीड़भाड़ होने की संभावना हो उस पर पूर्ण रूप से प्रतिबंध लगा दिया गया है। आपात स्थिति के लिए हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया गया है। जारी आदेश में कहा गया है कि प्रत्येक विद्यालयों में साफ-सफाई और सैनिटाइजेशन की व्यवस्था को सुनिश्चित किया जाए, ताकि संक्रमण के प्रभाव को रोका जा सके वहीं छात्र छात्राओं से कहा गया है की वायरस से बिल्कुल भयभीत ना हो कोई भी समस्या होने पर तुरंत इसकी सूचना दें।
ऑनलाइन, ऑफलाइन दोनों विकल्प
शिक्षकों से बात करें यदि किसी भी तरह की परेशानी छात्र-छात्राएं महसूस करते हैं तो ऐसी परिस्थिति में वह घर पर रहे। आदेश में कहा गया है कि ऑनलाइन तथा दूरस्थ शिक्षा की अनुमति पूर्व की तरह जारी रहेगी। जारी निर्देश में प्रबंधक स्कूल संचालक छात्र-छात्राओं तथा शिक्षकों के लिए अलग-अलग दिशा निर्देश जारी किया गया है। इन निर्देशों को सख्ती से पालन करने करने को कहा गया है।
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